HOLI-2022:ग्रहों की शांति व रोग से लाभ के लिए होलिका दहन की रात करें ये सरल उपाय, देखें मंत्र
होली विशेष। हिंदू धर्म का सबसे महत्वपूर्ण रंगों का त्योहार प्रत्येक वर्ष फाल्गुन मास के शुक्लपक्ष की पूर्णिमा को मनाया जाता है। ज्योतिष शास्त्र की मानें तो फाल्गुन मास की पूर्णिमा को किए गए उपाय बहुत ही जल्दी शुभ फलदायक होते हैं। बाबा दौलत गिरि संस्कृत महाविद्यालय लखनऊ के प्राचार्य, आचार्य विनोद कुमार मिश्र बताते हैं कि पूर्णिमा के दिन किए गए उपाए का लाभ पूरे साल मिलता है, लेकिन किसी भी उपाए को करने से पहले एकाग्रता और श्रद्धा होनी जरूरी है।
ग्रहों की शांति के लिए उपाय
होलिका दहन की रात उत्तर दिशा में पाटे पर सफेद कपड़ा बिछाकर उस पर मूंग, चने की दाल, चावल, गेहूं, मसूर, काले उड़द एवं तिल की ढेरी बनाएं। इसके बाद अब उस पर नवग्रह यंत्र स्थापित कर दें। इसके बाद उस पर केसर का तिलक करें, घी का दीपक जलाएं एवं नीचे लिखे मंत्र का जप करें। जप स्फटिक की माला से करें। जप पूरा होने पर यंत्र को पूजा स्थान पर स्थापित कर दें। इससे ग्रह अनुकूल होंगे।
मंत्र ब्रह्मा मुरारी त्रिपुरान्तकारी भानु शशि भूमि-सुतो बुधश्च।
गुरुश्च शुक्र: शनि राहु केतव: सर्वे ग्रहा: शान्ति करा भवन्तु।।
रोग नाश के लिए उपाय
अगर आप लम्बे समय से किसी बीमारी से परेशान हैं। तो इसके लिए भी होली की रात को खास उपाय करने से रोग में लाभ मिलता है और काफी हद तक आपकी बीमारी दूर हो सकती है, लेकिन किसी भी उपाए को करने से पहले ध्यान रखें की मन एकाग्र हो। होली की रात आप नीचे लिखे मंत्र का जप तुलसी की माला से करें। जो आपकी परेशानी व रोग को दूर करने में सहायक होगा।
मंत्र “ॐ नमो भगवते रुद्राय अमृतार्क मध्येस्थिताय मम शरीरं अमृतं कुरु कुर”
नोट: यह लेख धार्मिक मान्यताओं व धर्म शास्त्रों पर आधारित है। हम अंधविश्वास को बढ़ावा नहीं देते। पाठक धर्म से जुड़े किसी भी कार्य को करने से पहले अपने पुरोहित या आचार्य से अवश्य परामर्श ले लें। Khabar Sting इसकी पुष्टि नहीं करता।)
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