लगातार हो रही आग की घटनाओं पर CM योगी ने दिए कड़े आदेश, लखनऊ में बिना अग्निसुरक्षा के दर्जनों होटल, स्कूल व व्यवसायिक प्रतिष्ठान खुलेआम हो रहे हैं संचालित, देखें आग की सात बड़ी घटनाएं, वीडियो और पूरी जानकारी
लखनऊ। आग की लगातार हो रही कई घटनाओं के देखते हुए मुख्यमंत्री (CM) योगी आदित्यनाथ ने अग्नि सुरक्षा के उपायों की जांच के लिए निर्देश दिए हैं। इसके तहत प्रदेश भर में एक सप्ताह तक विशेष सघन चेकिंग अभियान चलाया जाएगा। इसकी जानकारी ACS गृह अवनीश कुमार अवस्थी ने दी है।
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इस सम्बंध में पुलिस महानिदेशक फायर सर्विस को अग्निशमन NOC एवं अग्निसुरक्षा के संबंध में आवश्यक निर्देश भेज दिए गए हैं। अभियान के तहत प्रदेश के सभी सरकारी एवं निजी अस्पतालों, होटलों, व्यवसायिक प्रतिष्ठानों, अपार्टमेन्ट, निजी व सरकारी स्कूलों, कॉलेजों में अग्निसुरक्षा व्यवस्था की जांच की जाएगी और बिना एनओसी चल रहे संस्थानों पर कड़ी कार्यवाही भी की जाएगी।
मीडिया रिपोर्ट्स की माने तो राजधानी लखनऊ में ही करीब 90 प्रतिशत होटल, व्यवसायिक प्रतिष्ठान और इमारतें बिना एनओसी के चल रही हैं। अर्थात इन संस्थानों में अग्नि सुरक्षा के पर्याप्त बंदोबस्त नहीं किए गए हैं। इस तरह से तो ये संस्थान बैठे-बिठाए बड़ी दुर्घटना को न्योता दे रहे हैं और लोगों की जिंदगियों को खतरे में डालने का काम कर रहे हैं। अगर मीडिया रिपोर्ट्स की मानें तो दमकल विभाग के अधिकारी इमारत स्वामियों पर कार्रवाई करने के बजाए केवल नोटिस थमा देते हैं और फिर फाइल बंद कर दी जाती है।
इसका सबूत वे होटल दे रहे हैं, जिनको सालों पहले नोटिस जारी की गई थी, लेकिन आज भी वहां की स्थिति जस की तस बनी हुई है। जब ये आलम राजधानी का है तो अन्य जिलों की क्या स्थिति होगी। यह कल्पना कर के ही रूह कांप जाती है कि अगर घनी बस्ती में बने किसी भी बहुमंजिला होटल, स्कूल या दुकान में आग लग गई तो क्या स्थिति होगी। फिलहाल शासन व प्रशासन को इस सम्बंध में सख्त कदम उठाने की जरूरत है। अब देखना ये है कि मुख्यमंत्री के आदेश पर कितना सुधार होता है?
सैकड़ों प्रतिष्ठानों पर चल रहा है मुकदमा
अगर लखनऊ की बात करें तो यहां सैकड़ों प्रतिष्ठानों पर मुकदमा चल रहा है। मीडिया सूत्रों की माने तो लखनऊ में 100 से अधिक इमारतें, होटलें मानक के विपरीत धड़ल्ले से अपना बिजनेस कर रहे हैं और इनके खिलाफ मुकदमें भी चल रहे हैं। जिला प्रशासन और अग्निशमन विभाग की लचर पैरवी के कारण अभी तक उनका निस्तारण नहीं हो सका है। चौंकाने वाली बात तो ये हैं कि आग की एनओसी किसके पास है किसके पास नहीं, इसकी पूरी जानकारी अग्निशमन विभाग के अफसरों को भी है, फिर भी इन पर कोई कार्यवाही नहीं की जा रही है। इसकी क्या वजह है ये तो नहीं बता सकते, लेकिन लोगों की जिंदगी के साथ खुलेआम खिलवाड़ किया जा रहा है।
देखें 2021 और 2022 में आग के से हुए बड़े हादसे
02 मई 2022 – लाटूश रोड पर जानकी बाजार इलेक्ट्रानिक्स दुकानों और गोदाम में भीषण आग लग गई थी, जिस पर आठ घण्टे बाद काबू पाया जा सका था।
01 अप्रैल 2022- गुईन रोड पर तीन मंजिला काम्प्लेक्स में स्टेशनरी शॉप और गोदाम में भीषण आग लग गई थी, जिसमें 6 लोग फंस गए थे।
07 मार्च 2022- अमीनाबाद में पेंट की दुकान में भीषण आग लगने के कारण लोगों में अफरा-तफरी मच गई थी।
24 मार्च 2021 – गड़बड़ झाला बाजार में प्लास्टिक के सामान की चार दुकानें जल गई थीं।
02 अप्रैल 2021- ऐशबाग में अवैध आरामशीन में अग्निकांड के दौरान मजदूर की जिंदा जलकर मौत हो गई थी।
23 जनवरी 2021-आलमबाग पकरी का पुल के पास घर के बेसमेंट में चल रहे टेंट गोदाम में आग लग गई थी, जिसमें दो मासूम बच्चों की जिंदा जलकर मौत हो गई थी। यह एक दर्दनाक हादसा था, जिसमें एक मां ने किसी अन्य की लापरवाही के कारण एक ही समय में अपने दोनों बेटों को खो दिया था।
06 मार्च 2021- बीकेटी में बिंदेश्वरी कोल्ड स्टोरेज में अमोनिया गैस रिसाव से दो मजदूरों की मौत हो गई थी और आधा दर्जन से अधिक लोग घायल हो गए थे।
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