बद्रीनाथ में अचानक भरभरा कर गिरा ग्लेशियर, 57 मजदूर दबे; मौसम विभाग ने जारी किया अलर्ट-Video
Badrinath Dham: दो दिन से लगातार बद्रीनाथ धाम में बर्फबारी हो रही है तो वहीं जम्मू-कश्मीर के बनिहाल में भी भारी हिमपात हो रहा है. जहां पहाड़ी इलाकों में बर्फ गिर रही है और बारिश हो रही है तो वहीं मैदानी इलाकों में भी मौसम ने करवट ली है और लगातार ठंडी हवाएं चल रही हैं व बादर घिरे हुए हैं.
इसी दौरान बद्रीनाथ धाम से खबर सामने आ रही है कि शुक्रवार दोपहर को भारी बर्फबारी के बाद ग्लेशियर टूट गया है जिसमें 57 मजदूर बर्फ के नीचे दब गए हैं. हालांकि अभी तक 10 मजदूरों को बचा लिया गया है और बचाव कार्य लगातार जारी है.
उत्तराखंड | पुलिस मुख्यालय के प्रवक्ता IG नीलेश आनंद भरणे ने ANI को बताया, “सीमा क्षेत्र माणा में सीमा सड़क संगठन के कैंप के पास भीषण हिमस्खलन हुआ है, जिसमें सड़क निर्माण में लगे 57 मजदूर फंस गए हैं। इन मजदूरों में से 10 मजदूरों को बचा लिया गया है और गंभीर हालत में माणा के पास… pic.twitter.com/h9yhtZJ9tu
— ANI_HindiNews (@AHindinews) February 28, 2025
न्यूज एजेंसी एएनआई की रिपोर्ट के मुताबिक, पुलिस मुख्यालय के प्रवक्ता IG नीलेश आनंद भरणे ने बताया कि, “सीमा क्षेत्र माणा में सीमा सड़क संगठन के कैंप के पास भीषण हिमस्खलन हुआ है, जिसमें सड़क निर्माण में लगे 57 मजदूर फंस गए हैं।
इन मजदूरों में से 10 मजदूरों को बचा लिया गया है और गंभीर हालत में माणा के पास सेना के कैंप में भेज दिया गया है।” इस बीच, BRO(सीमा सड़क संगठन) के अधिशासी अभियंता CR मीना ने बताया कि मौके पर 57 मजदूर मौजूद हैं। तीन से चार एंबुलेंस भी भेजी गई हैं, लेकिन भारी बर्फबारी के कारण बचाव दल को वहां पहुंचने में दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है।
जनपद चमोली में माणा गांव के निकट BRO द्वारा संचालित निर्माण कार्य के दौरान हिमस्खलन की वजह से कई मजदूरों के दबने का दुःखद समाचार प्राप्त हुआ।
ITBP, BRO और अन्य बचाव दलों द्वारा राहत एवं बचाव कार्य संचालित किया जा रहा है।
भगवान बदरी विशाल से सभी श्रमिक भाइयों के सुरक्षित होने की…
— Pushkar Singh Dhami (@pushkardhami) February 28, 2025
सीएम धामी ने श्रमिकों की सुरक्षा के लिए की प्रार्थना
वहीं इस घटना के बाद उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने सोशल मीडिया प्लेटफार्म एक्स पर एक पोस्ट शेयर कर कहा है “चमोली जिले के माणा गांव के पास BRO द्वारा किए जा रहे निर्माण कार्य के दौरान कई श्रमिकों के हिमस्खलन में दबने का दुखद समाचार मिला। ITBP, BRO और अन्य बचाव दल द्वारा राहत और बचाव कार्य किया जा रहा है। मैं भगवान बद्री विशाल से सभी श्रमिक भाइयों की सुरक्षा की प्रार्थना करता हूं।”
पूरे पहाड़ में बिछ गई बर्फ की चादर, चमोली से लेकर पिथौरागढ़ तक उत्तराखंड में भारी बर्फबारी।#chamoli #gopeshwer #Uttarakhand #snowfall pic.twitter.com/AQsC81FQfG
— Ajit Singh Rathi (@AjitSinghRathi) February 28, 2025
ढूंढा जा रहा है मजदूरों को
बता दें कि प्राकृतिक घटना की खबर जैसे ही प्रशासन और बीआरओ की टीम को मिली, तुरंत मौके पर पहुंचे. सचिव आपदा प्रबंधन विनोद सुमन ने बताया कि चमोली बद्रीनाथ धाम में माना गांव के पास गलेशियर आने से 57 मजदूर दब गए. मजदूरों की खोज जारी है. चमोली के जिलाधिकारी संदीप तिवारी ने बताया कि संचार व्यवस्था काफी टॉप पर होने की वजह से सही-सही जानकारी नहीं मिल पा रही है.
केदारनाथ में भी हो रही है बर्फबारी
मालूम हो कि पहाड़ी क्षेत्रों में दो दिन से मौसम लगातार खराब चल रहा है. जहां मैदानी इलाकों में मार्च आने के साथ ही गर्मी का हल्का-हल्का अहसास होने लगा था तो वहीं दो दिन से मौसम में ठंड महसूस हो रही है और निचले क्षेत्र में लगातार बारिश हो रही है. केदारनाथ धाम में बर्फबारी से ठंड का प्रकोप अत्यधिक बढ़ गया है. यहां आईटीबीपी के साथ पुलिस के जवान सुरक्षा व्यवस्था में तैनात हैं. यहां तीन से चार इंच तक बर्फ जम चुकी है. केदारनाथ धाम के अलावा मदमहेश्वर व तुंगनाथ धाम में भी जमकर बर्फबारी जारी है. जवानों को भारी ठंड के बीच पानी की समस्या से जूझना पड़ रहा है.
मौसम विभाग ने पहले ही जारी कर दिया था ऑरेंज अलर्ट
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, मौसम विभाग ने आज के लिए पहले ही ऑरेंज अलर्ट जारी कर दिया था. साथ ही 32 सौ मीटर से ऊपर के एरिया में बर्फबारी होने की आशंका भी जताई थी. इसके अलावा एवलांच की भी आशंका भी जताई थी. तो वहीं आज बद्रीनाथ मंदिर से तीन किलोमीटर दूर हाईवे के पास हिमस्खलन की खबर सामने आई है. बता दें कि उत्तराखंड के जिस माणा गांव में हिमस्खलन हुआ है वह भारत और चीन के बॉर्डर पर स्थित है. यहां सेना का बेस कैंप है. इस कारण सेना सबसे पहले बचाव कार्य में जुट गई. तो वहीं एनडीआरएफ और एसडीआरएफ की टीमों को भी मौके पर भेजा गया है. बचाव कार्य में बीआरओ की टीमें भी जुटी हुई हैं.
ये भी पढ़ें-मेरा सपना अधूरा रह गया…लिखकर नर्सिंग छात्रा ने दी जान; सुसाइड नोट में बताई आत्महत्या की ये बड़ी वजह