मेरा सपना अधूरा रह गया…लिखकर नर्सिंग छात्रा ने दी जान; सुसाइड नोट में बताई आत्महत्या की ये बड़ी वजह

February 27, 2025 by No Comments

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Prayagraj: प्रयागराज के एसआरएन अस्पताल स्थित नर्सिंग हॉस्टल में बुधवार सुबह 20 साल की जीएनएम प्रथम वर्ष की छात्रा प्रीति सरोज ने सुसाइड नोट लिखकर पंखे पर फंदे से लटक कर जान दे दी। सुसाइड नोट में छात्रा ने अपनी मौत की वजह बताई है. इस घटना के बाद घर-परिवार में मातम पसरा हुआ है.

तो वहीं मृतका के चचेरे भाई अनुज सरोज ने खुजली का मजाक उड़ाने और ताने मारने के कारण खुदकुशी को मजबूर होने का आरोप लगाते हुए जांच की मांग की है। दरअसल मृतका ने सुसाइड नोट में अपने मरने की वजह सुनने में तकलीफ और पूरे शरीर में खुजली की बीमारी बताई है.

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, प्रीति नर्सिंग हॉस्टल में रहकर जीएनएम की पढ़ाई कर रही थी. उसके साथ कमरे में कुल 6 छात्राएं रहती थीं जिसमें से चार छात्राएं महाशिवरात्रि पर मंदिर चली गईं थीं। एक सहेली साथ थी। तो वहीं सहेली ने घटना को लेकर बताया कि सुबह करीब 10 बजे प्रीति ने उससे कहा कि पूरे शरीर में खुजली की दवा लगानी है। तुम थोड़ी देर के लिए बाहर चली जाओ।

सहेली चली गई छत पर

मृतका की सहेली ने आगे बताया कि प्रीति के कहने पर वह छत पर कपड़ा फैलाने चली गई और करीब 15 मिनट बाद लौटी तो दरवाजा अंदर से बंद था। उसने कई आवाज लगाई लेकिन दरवाजा नहीं खुला तो सहेलियों और हॉस्टल प्रबंधन को सूचना दी। जब सभी ने धक्का लगा कर गेट खोला तो प्रीति पंखे पर नायलॉन की रस्सी से लटकी हुई थी। इसके बाद पूरे हॉस्टल में हड़कंप मच गया. उसे फंदे से उतार एसआरएन ले गए, जहां डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया। कौशाम्बी के संदीपनघाट थानाक्षेत्र के फरीदपुर की प्रीति के खुदकुशी करने की बात सुबह 10:15 बजे पता लगी।

मां का हुआ बुरा हाल

होनहार बेटी की मौत की खबर सुनकर पूरे परिवार में मातम पसर गया है. प्रीति का शव देखकर मां शांति देवी का रो-रो कर बुरा हाल हो गया है. वह लगातार प्रीति की बातें याद करते हुए रोए जा रही हैं. उन्होंने कहा कि प्रीति गरीबी से लड़ना सीखने की बात कहती थी और खुद ही हार गई। तुमने तो डॉक्टर बनकर गरीबों की मदद का वादा किया था, उसे भी नहीं सोचा। मां बार बार एक ही बात कह रही हैं कि आखिर बेटी तूने ऐसा कदम क्यों उठाया। बता दें कि प्रीति अपनी मां की दूसरे नंबर की संतान थी। बड़ी बहन उमा की शादी हो चुकी है, जबकि दो छोटे भाई अंकित और आशीष अभी पढ़ रहे हैं।

पढ़ाई में तेज थी प्रीति

मृतका के पिता शत्रुघन ने बताया कि प्रीति पढ़ाई में तेज थी, इसी वजह से उसे सरकारी कॉलेज मिला था। उसके एडमिशन के बाद लग रहा था कि उनकी गरीबी अब खत्म हो जाएगी लेकिन भगवान ने उनके साथ बहुत बुरा कर दिया. जैसे-तैसे बेटी को पढ़ा कर बड़ा किया था लेकिन अब सब खत्म हो गया. बता दें कि प्रीति के पिता शत्रुघन सरोज राजमिस्त्री का काम करते हैं. वह अपनी पत्नी के साथ एसआरएन पहुंचे थे और बेटी को मृत अवस्था में देखकर दहाड़े मारकर रोने लगे थे.

कान में तकलीफ बढ़ने के बाद ले 12 फरवरी को ले आए थे घर

पिता ने बताया कि वह कान में दर्द की समस्या से जूझ रही थी. 12 फरवरी को कान में तकलीफ बढ़ने पर उसे घर ले गए थे। 23 फरवरी को वह लौट गई थी। उसने आज सुबह करीब 7:30 बजे फोन करके घर में रखा फिटनेस सर्टिफिकेट मंगाया था और वही लेकर उसके पास जा रहे थे कि इसी बीच ये मनहूस खबर आ गई।

पूरे शरीर में रहती है खुजली

सूत्रों के मुताबिक, सुसाइड नोट में मृतका ने लिखा है, “मैं डॉक्टर बनना चाहती थी लेकिन, मेरा सपना अधूरा रह गया। मैं बहुत परेशान होकर आत्महत्या करने जा रही हूं। कान की बीमारी से परेशान हूं. सुनने में तकलीफ होती है। पूरे शरीर में खुजली रहती है। इसे अब और नहीं झेल सकती.” सुसाइड नोट में मृतका ने आगे लिखा है, “मम्मी-पापा मुझे माफ कर देना.”

आधे पेज का मिला सुसाइड नोट

घटना के सम्बंध में कोतवाली थाना प्रभारी रोहित तिवारी ने मीडिया को बताया कि प्रीति के नोटबुक में आधे पेज का सुसाइड नोट मिला है।फिलहाल इस सम्बंध में नर्सिंग कॉलेज की प्रधानाचार्य जयकुमारी जायसवाल से भी पूछताछ की गई है. उन्होंने ताने मारने या मजाक उड़ाने जैसी जानकारी से इंकार किया है। हालांकि घटना के हर पहलू की जांच हो रही है। प्रधानाचार्य ने कहा है कि वह भी मामले की जांच करवा रही हैं.

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